बिहार की बेटी ने बनाई हीरे की ऐसी अंगूठी, गिनीज बुक में हुआ दर्ज, जानिए क्या है खास
पटना :बिहार के पश्चिमी चम्पारण की बेटी खुशबू ने हीरे जड़ित अंगूठी बनाकर गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड में अपना नाम दर्ज कराया है. इस अंगूठी को खुशबू और उसके पति विशाल अग्रवाल ने तैयार किया है. अग्रवाल दंपती पिछले एक साल से इस प्रोजेक्ट पर काम कर रहे थे. इस अंगूठी को बनाने के लिए 25 करोड़ रुपये खर्च हुए हैं. अंगूठी को भारत के राष्ट्रीय फूल कमल का आकार दिया गया है. इसे 18 कैरेट गोल्ड में 6690 हीरे जड़कर बनाया गया है.खुशबू पश्चिमी चम्पारण के बगहा के विमल और रंजू भालोटिया की बेटी हैं.
गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड में खुशबू को जगह मिलने के बाद बगहा में खुशी की लहर दौर गई है. खुशबू की शादी हीरानगरी सूरत के व्यवसायी विशाल अग्रवाल से हुई है. वैश्विक मंच पर भारत को पहचान दिलाने और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मेक इन इंडिया के नारे को बल देने के उद्देश्य से व्यवसायी दंपती ने इसे बनाया है.
खुशबू के पति विशाल ने फोन पर बताया कि अमेरिका में बेहद यूनिक ज्वेलरी देखने के बाद यह आइडिया आया कि इंटरनेशल मार्केट में भारत की डिजाइन भी होनी चाहिए. दंपती ने इस दिशा में काम शुरू किया. ताकि वैश्विक बाजार में भारत का नाम रोशन हो. उस वक्त वर्ल्ड रिकॉर्ड बनाने का कोई इरादा नहीं था. इंडियन थीम पर रिंग बनाने की ठानी तो सबसे पहले देश के राष्ट्रीय फूल कमल की ओर ध्यान गया. कमल को केंद्र में रखकर ही यह रिंग बनाई गई. 1 जून को अमेरिका के लॉस एंजेलिस में इस रिंग को लॉन्च किया गया.
खुशबू ने तैयार किया मॉडलअंगूठी बनाने में इस दंपती ने सूरत के साथ-साथ मुंबई के कई व्यवसायियों की भी मदद ली. इस दौरान कंप्यूटर मॉडल तैयार हुआ. उसे खुशबू ने फाइनल किया. डिजाइन फाइनल होने के बाद इसे आकार दिया गया. अंगूठी में कट डायमंड का प्रयोग किया गया है. एक रिंग में इससे अधिक डायमंड का प्रयोग पहले कभी नहीं किया गया है.इससे पहले वर्ल्ड रिकॉर्ड जयपुर के सेवियो के नाम पर था. उन्होंने 3800 डायमंड युक्त मोर डिजाइन वाली अंगूठी बनाई थी. हालांकि यह अंगूठी बेहद भारी थी. इस वजह से इसे पहना नहीं जा सकता था. लेकिन अग्रवाल दंपती के द्वारा तैयार की गई अंगूठी को पहना जा सकता है.
राजेश कुमार के साथ सोनू मिश्रा की रिपोर्ट ,पटना (बिहार)