मोदी सरकार ने टैक्सी, ऑटो चलाने वालों को दिया तोहफा …
आजकल की भागदौड़ की जिंदगीं में चरमराई हुई पब्लिक ट्रांसपोर्ट के हालात के बीच में सिर्फ ऑटो, टैक्सी और ई रिक्शा से ही लोग अपनी मंजिल तक पहुंच पाते हैं । अब मोदी सरकार पब्लिक ट्रांसपोर्ट के हालात सुधारने और ऑटो, टैक्सी चलाने वालों को राहत देने का काम करने जा रही है । जिसके लिए केंद्रीय परिवहन मंत्रालय ड्राइविंग लाइसेंस नियमों में बदलाव कर रही है।
केंद्रीय परिवहन मंत्रालय के फैसले के मुताबिक अब ऑटो, टैक्सी और ई रिक्शा चलाने के लिए कमर्शियल ड्राइविंग लाइसेंस की अनिवार्यता खत्म कर दी है. अब निजी लाइट मोटर व्हीकल ड्राइविंग लाइसेंस होने पर भी कमर्शियल वाहन चला सकेंगे. हालांकि ट्रक, बस और अन्य भारी वाहनों के अभी भी अलग ड्राइविंग लाइसेंस की जरूरत होगी.
परिवहन मंत्रालय ने दिल्ली समेत सभी राज्यों के लिए नई एडवाइजरी जारी की है. इसके मुताबिक जिन वाहनों का वजन 7,500 किलो या इससे कम है तो इन्हें चलाने के लिए कमर्शियल लाइसेंस की जरूरत नहीं होगी. मंत्रालय ने यह फैसला सुप्रीम कोर्ट के जुलाई 2007 में दिए गए एक आदेश के बाद लिया है. सुप्रीम कोर्ट ने जुलाई 2007 में कहा था कि गाड़ी का बीमा वाहन श्रेणी से संबंधित होता है, इसका लाइसेंस से कोई संबंध नहीं है.
परिवहन मंत्रालय से जुड़े एक अधिकारी के मुताबिक, ”इससे कमर्शियल लाइसेंस बनाने में हो रहा बड़े स्तर का भ्रष्टाचार खत्म होगा. राज्यों को कर्मिशयल वाहनों के लिए अलग से लाइसेंस जारी करने होंगे.” बता दें कि कर्मिशियल ड्राइविंग लाइसेंस निजि लाइट मोटर व्हीकल ड्राइविंग लाइसेंस बनने के बाद ही बनता है.