बरेली मीरगंज थाना क्षेत्र के गांव ठिरिया खुर्द में जन्मदिन की दावत में गए एक रिटायर्ड फौजी का सोमवार सुबह तक कोई सुराग नहीं लग सका।
बरेली। मीरगंज थाना क्षेत्र के गांव ठिरिया खुर्द में जन्मदिन की दावत में गए एक रिटायर्ड फौजी का सोमवार सुबह तक कोई सुराग नहीं लग सका। उनकी बाइक, चप्पल और मोबाइल फोन गोरा हेमराजपुर के पास सड़क किनारे नदी के पास पड़े मिले। आशंका जताई जा रही है कि वे रामगंगा नदी में डूब गए।
जानकारी के मुताबिक, सिरौली थाना क्षेत्र के गुलड़िया गौरीशंकर निवासी पूर्व फौजी प्रेमपाल रविवार को बाइक से ठिरिया खुर्द स्थित अपने मामा उमराय के घर जन्मदिन की दावत में गए थे। देर रात भोजन के बाद वे घर लौटने के लिए निकले, लेकिन घर नहीं पहुंचे। परिजनों ने रातभर उनके मोबाइल पर कॉल की, लेकिन फोन रिसीव नहीं हुआ।
ग्रामीणों को सड़क किनारे दिखीं बाइक और चप्पलें
सोमवार सुबह करीब साढ़े छह बजे ग्रामीण खेतों की ओर जा रहे थे। तभी उन्होंने कटी हुई सड़क के नीचे बाइक, चप्पलें और मोबाइल फोन देखा। फोन की घंटी बज रही थी। एक ग्रामीण ने कॉल रिसीव किया तो पता चला कि यह मोबाइल पूर्व फौजी प्रेमपाल का है। इसके बाद ग्रामीणों ने तुरंत पुलिस और परिजनों को सूचना दी।
नदी में डूबने की आशंका, गोताखोरों की मदद से तलाश
सूचना पर मीरगंज पुलिस, प्रेमपाल के परिजन और रिश्तेदार मौके पर पहुंचे। स्थानीय गोताखोरों की मदद से उनकी तलाश शुरू कराई गई। अब तक उनका कोई पता नहीं चला है।
पुलिस का मानना है कि अंधेरे में कटी सड़क से गुजरते समय उनका वाहन नदी में जा गिरा और वे पानी में बह गए। प्रेमपाल वर्तमान में स्टेट बैंक रामनगर में गार्ड के पद पर कार्यरत थे। उनकी पत्नी रामवती का रो-रोकर हाल बेहाल है। प्रेमपाल के दो बेटे और दो बेटियां हैं और सभी की शादी हो चुकी है।
सड़क कटान बनी हादसे की वजह
स्थानीय लोगों का कहना है कि यह सड़क एक महीने पहले रामगंगा नदी की बाढ़ से कट गई थी। उस समय पीडब्ल्यूडी ने दीवार लगाकर रास्ता बंद किया था, लेकिन लोगों ने दीवार तोड़ दी और इस मार्ग से गुजरना जारी रखा।
इसी तरह मीरगंज–सिरौली मार्ग पर कैलाश गिरी घाट के पास भी सड़क नदी में समा गई है। यहां भी लोग ट्यूब और अस्थायी साधनों के जरिए जान जोखिम में डालकर आना-जाना कर रहे हैं।
बरेली से रोहिताश कुमार की रिपोर्ट
