बज़्म-ए-ग़ौस-ए-आज़म (तन्ज़ीम) ने वसीम रिज़वी द्वारा क़ुरान और ख़ुलाफा-ए-राशिदीन की शान में की गई ग़ुस्ताख़ी को लेकर किया तहफ्फूज़-ए-कुर’आन पैदल मार्च।
पुराना शहर की सभी मस्जिदों में अदा की गई एक बजे जुम्मे की नमाज़। मुस्लिम इलाके रहें बन्द ।।
बज़्म-ए-ग़ौस-ए-आज़म (तन्ज़ीम) की ओर से वसीम रिज़वी के ख़िलाफ बाद नमाज़-ए-जुम्मा दोपहर 2 बजे सैलानी, रज़ा चौक से थाना बारादरी तक तहफ्फूज़-ए-कुर’आन मार्च निकाला गया।
तन्ज़ीम के राष्ट्रीय अध्यक्ष मौहम्मद रज़ा नूरी ने बताया वसीम रिज़वी अपना नाम चमकाने के लिए आए दिनों सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर वीडियो के ज़रिए लगातार मुसलमानों के ख़िलाफ़ अपना ज़हर उगलता आ रहा जिसको लेकर मुस्लिम समुदाय में आक्रोश पैदा होता है
और जिसकी वजह से हिन्दुस्तान का माहौल ख़राब होता है। इस बार वसीम रिज़वी ने मर्यादा की सारी हदें पार करते हुए एक बार फिर अपनी एक वीडियो जारी करते हुए मुसलमानो के ख़िलाफ ज़हर उगला है जो की मुसलमानो की मुक़द्दस किताब क़ुरान शरीफ को लेकर है
और दूसरा मुस्लिम समुदाय के ख़लीफाओ व हज़रत-ए-बीबी मां आयशा सिद्दीक़ा रदिअल्लाहु और हज़रत-ए-बीबी हफ्शा रदियल्लाह के ख़िलाफ़ ग़ुस्ताख़ी की है। जिससे मुस्लिम समुदाय की धार्मिक भावनाएं आहत हुई हैं।
जिसको लेकर मुस्लिम समुदाय बेहद आक्रोश में है। तन्ज़ीम के राष्ट्रीय महासचिव समरान खान ने कहा की वसीम द्वारा सुप्रीम कोर्ट में क़ुरान शरीफ की 26 आयतों को हटाने के लिए दायर की गई याचिका जो की क़ुरान की बे’अदबी और बेहुरमति है।
इसको लेकर तन्ज़ीम के बैनर तले हज़ारो की तादात में सैलानी रज़ा चौक से तहफ्फूज़-ए-कुरान मार्च शाहदाना चौराहा तक निकाला गया। वह एसीएम रोहित यादव जी के मध्यम से माननीय राष्ट्रपति महोदय को ज्ञापन दिया गया।
फिर थाना बारादारी में तन्ज़ीम के जिला अध्यक्ष मोहम्मद रज़ा नूरी के नेत्रव में सय्यद मुफ्ती कफील हाश्मी, दरगाह तहसीनी के प्रबन्धक शॉऐब रज़ा खाँ, असलम मिया, समरान खान, तम्हीद यूसुफज़ई पठान, इरफान नूरी, मुस्तफ़ा नूरी ने थाना इंचार्च बारादारी को तहरीर देखकर एफआईआर कराने की माँग की। तहफ्फूज़-ए-कुर’आन मार्च होने से पहले सुबह से लेकर दोपहर 3 बजे तक मुस्लिम इलाके बन्द रहें। और सभी मस्जिदों में जुम्मा की नमाज़ एक बजे अदा की गई।
वही तन्ज़ीम के ज़िलाध्यक्ष तमहीद यूसुफज़ई पठान द्वारा हुकूमत-ए-हिन्दुस्तान से यह मांग की गई की वसीम की सभी वीडियो और ऑडियो पर सोशल मीडिया और इलेक्ट्रॉनिक मीडिया पर रोक लगाई जाए ताकी वसीम अपनी कोई भी ऑडियो या वीडियो किसी भी सोशल मीडिया या इलेक्ट्रॉनिक मीडिया प्लेटफॉर्म पर न ला पाए जिससे मुसलमानों की धार्मिक भावनाएं आहत न हों।
हुकूमत-ए-हिन्दुस्तान से यह भी मांग रखी की हुकूमत एक ऐसा क़ानून बनाए जिसमे किसी धर्म के ख़िलाफ या किसी धर्म के धर्मगुरुओं के ख़िलाफ आपत्तिजनक टिप्पणी करने वाले पर सख़्त से सख़्त कार्रवाई हो और कड़ी से कड़ी सज़ा हो और उस कानून का हुकूमत द्वारा पूरे मुल्क में सख़्ती से पालन कराया जाए।
इस मौके पर तन्ज़ीम के राष्ट्रीय अध्यक्ष मो० रज़ा नूरी, राष्ट्रीय महासचिव समरान ख़ान, ज़िलाध्यक्ष तमहीद यूसुफज़ई पठान, ज़िला सचिव मो० इरफान नूरी, प्रवक्ता मुस्तफा नूरी, दरगाह आला हजरत से सय्यद मुफ्ती कफील हाश्मी, दरगाह तहसीनी के प्रबन्धक शॉऐब रज़ा खाँ, खानकाह वामिकी के सज्जादानशीन असलम मिया वामिकी, मो० शारिक रज़ा, मो० शोएब रज़ा, जिलानी कुरैशी, आज़म रज़ा तहसीनी, सपा सभासद अन्जूम शमीम, सपा सभासद कयिया, सपा नेता आशू खान व तमाम मस्जिदों के इमाम हज़रात साहित तन्ज़ीम के तमाम कार्यकर्ता आदि प्रमुख रुप से मौजूद रहें ।।
समरान खान
राष्ट्रीय महासचिव
बज्म-ए-गौस-ए-आज़म (तन्ज़ीम)
बरेली ।।
बरेली से मोहम्मद शीराज़ ख़ान की रिपोर्ट !