बांकेबिहारी मंदिर: दर्शन समय पर SC नोटिस
⚖️ बांकेबिहारी मंदिर विवाद: दर्शन समय बढ़ाने के आदेश पर सुप्रीम कोर्ट सख्त, उच्चाधिकार समिति को जारी किया नोटिस
🎯 मुख्य कीवर्ड्स: बांकेबिहारी मंदिर सुप्रीम कोर्ट, गोस्वामियों की याचिका, ठाकुर जी दर्शन समय विवाद, प्रबंधन समिति नोटिस, बांकेबिहारी सेवायतों का विरोध
वृंदावन/नई दिल्ली: उत्तर प्रदेश के वृंदावन स्थित ठाकुर बांकेबिहारी मंदिर के प्रबंधन को लेकर चल रहे विवाद में एक नया मोड़ आ गया है। सुप्रीम कोर्ट ने मंदिर की उच्चाधिकार प्रबंधन समिति द्वारा दर्शन का समय पौने तीन घंटे बढ़ाने के आदेश के विरुद्ध दायर याचिका पर सुनवाई करते हुए, समिति को नोटिस जारी किया है।
यह याचिका मंदिर के सेवायतों (गोस्वामियों) ने दायर की थी, जिन्होंने भीड़ नियंत्रण के नाम पर दर्शन का समय बढ़ाने का सख्त विरोध किया था।
⏱️ विवाद की जड़: पौने तीन घंटे का अतिरिक्त समय
विवाद तब शुरू हुआ जब सुप्रीम कोर्ट द्वारा गठित उच्चाधिकार प्रबंधन समिति ने 12 सितंबर को हुई अपनी बैठक में ठाकुर जी के दर्शन के समय में प्रतिदिन करीब पौने तीन घंटे की बढ़ोतरी करने का आदेश जारी किया था।
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समिति का उद्देश्य: समिति ने यह आदेश मंदिर में बढ़ती भीड़ को नियंत्रित करने और दर्शन को सुगम बनाने के लिए दिया था।
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सेवायतों का विरोध: इस आदेश के लागू न होने पर, सेवायतों ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की। उनका मुख्य तर्क यह है कि ठाकुर बांकेबिहारी जी की सेवा बाल रूप में होती है।
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दलील: सेवायतों ने कोर्ट में दलील दी कि यदि दर्शन का समय बढ़ाया गया, तो इससे ठाकुर जी के विश्राम (शयन) में बाधा आएगी, और उनकी सेवा-पद्धति प्रभावित होगी।
👨⚖️ सुप्रीम कोर्ट ने माँगा जवाब
याचिका पर सुनवाई करते हुए, सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस सूर्यकांत की पीठ ने प्रबंधन समिति को नोटिस जारी करने का आदेश दिया है। अब यह समिति सुप्रीम कोर्ट में अपना पक्ष रखेगी कि उसने किन आधारों पर दर्शन का समय बढ़ाने का निर्णय लिया था।
अधिवक्ता नरेंद्र कुमार गोस्वामी ने बताया कि सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले में प्रबंधन कमेटी को नोटिस जारी किया है। इस मामले की अगली सुनवाई जनवरी के पहले सप्ताह में होगी।
यह निर्णय दर्शाता है कि न्यायिक और प्रशासनिक सुधारों के बीच धार्मिक परंपराओं और सेवा-पद्धति का संतुलन बनाए रखना एक बड़ी चुनौती है।
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