मुख्यमंत्री ने पखारे शक्ति स्वरूपा बेटियों के पांव, प्रभु राम का किया राजतिलक

गोशाला में गोमाता की पूजा व सेवा की, खिलाया गुड़ चना गोरखनाथ मंदिर के तिलकोत्सव कार्यक्रम में दिया श्रद्धालुओं को आशीर्वाद, विजयादशमी की शोभायात्रा में हुए शामिल पात्र पूजा में निभाई दंडाधिकारी की भूमिका, सहभोज से हुआ नवरात्र व विजयादशमी के कार्यक्रमों का समापन गोरखपुर, 25 अक्टूबर। मुख्यमंत्री एवं गोरक्षपीठाधीश्वर श्री योगी आदित्यनाथ रविवार को नवरात्र की नवमी तिथि ( विजयादशमी )को पूरे दिन आनुष्ठानिक कार्यक्रमों में तल्लीन रहे।

सुबह नवमी के पारम्परिक पूजन अर्चन के बाद उन्होंने शक्ति स्वरूपा कन्याओं का पांव पखार पूजन के अनुष्ठान को पूर्ण किया। गुरु श्री गोरक्षनाथ समेत मंदिर परिसर में स्थापित समस्त देव विग्रहों तथा ब्रह्मलीन महंतजननों की समाधि पर विशेष पूजा अर्चना कर अपनी श्रद्धा निवेदित की। मुख्यमंत्री जी ने गोशाला में गोमाता की पूजा सेवा कर उन्हें गुड़ चना खिलाने के साथ गोवंश के साथ भावपूर्ण समय बिताया। दोपहर में गोरखनाथ मंदिर में आयोजित तिलकोत्सव कार्यक्रम में उन्होंने श्रद्धालुओं को आशीर्वाद दिया तो शाम को विजयादशमी की शोभायात्रा में शामिल होकर मानसरोवर मंदिर पहुंचे और यहां चल रही रामलीला में प्रभु श्रीराम का राजतिलक किया। यहां से वापस गोरखनाथ मंदिर लौटकर सीएम योगी बतौर पीठाधीश्वर पात्र पूजा में शामिल होकर साधु संत समाज के सालभर के आपसी मामलों के निस्तारण के लिए दंडाधिकारी की भूमिका में नज़र आए। नवरात्र व विजयादशमी के कार्यक्रमों का समापन योगी जी के सानिध्य में सहभोज के साथ हुआ। पांव पखारने में उमड़ी सजल भावनाएं बेटियों के प्रति अपनी अगाध श्रद्धा और उन्हें समाज मे शक्ति स्वरूप में प्रतिस्थापित करने की पहल को वह आज और मजबूत करते दिखे। कोरोना संक्रमण काल मे कोविड प्रोटोकॉल का ख्याल रखते हुए मंदिर में आयोजित कन्या पूजन कार्यक्रम में योगी जी ने नौ दुर्गा स्वरूपा नौ कुंवारी कन्याओं के पांव पखारे, उनका विधि विधान से पूजन किया। पूरी श्रद्धा से भोजन कराया। दक्षिणा देकर उनका आशीर्वाद लिया। मुख्यमंत्री ने परम्परा का निर्वहन करते हुए बटुक पूजन भी किया। मुख्यमंत्री जी ने परम्परागत रूप से पीतल के परात में भरे जल में सभी नौ बालिकाओं के बारी-बारी पॉव धोये, उनके माथे पे रोली, चंदन, दही, अक्षत और दूब का तिलक लगाया। खुद परोस कर सबको भोजन कराया। उपहार में वस्त्र एवं दक्षिणा देकर आशीर्वाद लिया। मुख्यमंत्री जी ने इसके पूर्व मंदिर के शक्तिपीठ में मॉ भगवती की विधि-विधान से आराधना की और सभी देव विग्रहों का षोडशोपचार पूजन किया। मंदिर परिसर में गोशाला एवं परिसर में सेवाएं देने वाले मंदिर कर्मचारियों की बेटियों को 12 बजे के बजाए 8 बजे ही निमंत्रित किया गया। अपने महराज जी या योगी बाबा़ का प्यार दुलार पाने के लिए नन्ही बालिकाओं की आतुरता देखते ही बन रही थी।सत्कार और स्नेह के भाव से मुख्यमंत्री जी ने एक एक कर सभी 9 कन्याओं और बटुक भैरव के पांव पखारे , पूजन किया। इस दौरान सीएम के हाथों दक्षिणा मिलने से ये बालिकाएं काफी प्रफुल्लित दिखीं। पूजन के बाद भोजन परोसते समय सीएम निरंतर संवाद भी करते रहे, देवी बनी बालिकाएं उनके सवालों का जवाब भी देती जिन पर श्री योगी आनंदित होते रहे। पूजन के दौरान प्रधान पुजारी योगी कमलनाथ, मंदिर सचिव द्वारिका तिवारी आदि मौजूद रहे।

 

लखनऊ से ब्यूरो चीफ राघवेंद्र सिंह की रिपोर्ट !